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Tata Group: टाटा की इस कंपनी ने लिया बड़ा फैसला निवेशक जानकर हैरान

By Dindyal Das

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Tata Groups took a big decision
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Tata Group: टाटा की कंपनी ने एक बहुत बड़ा फैसला लिया है जिसे जानने के बाद वैश्विक स्तर के सभी निवेशक हैरानी में आ गये है। आइये इस लेख के जरिये जानते हैं की टाटा ग्रुप ने वह कौन सा फैसला लिया है।

Tata Group: टाटा ग्रुप का बड़ा फैसला

हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने एक महत्वपूर्ण निर्णय लेकर देश में सेमीकंडक्टर फैब का अप्रूवल दे दिया गया है। भारत को आत्मनिर्भर बनाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने जो संकल्प लिया है। वह भारत के लिए बहुत बड़ी सिद्धि है। अब भारत की पहली सेमीकंडक्टर फैब बनेगी। इसमें प्रतिवर्ष 300 करोड़ चिप बनाए जाएंगे। इन चीजों का इस्तेमाल इलेक्ट्रॉनिक में बहुत अधिक किया जाता है। इसका इस्तेमाल Electric Vehicle, Telecom, Defence, Consumer Electronics, Automobile, Power Electronics मैं किया जाएगा।

भारतीय उद्योग में Tata Group एक महत्वपूर्ण स्तंभ है जो कि ऑटोमोबाइल्स के साथ-साथ सॉफ्टवेयर तक के व्यापार में शामिल है। और काफी अच्छी सफलता को प्राप्त किया है। टाटा ने अब Technology की दुनिया में एक बड़ी छलांग लगाने का फैसला लिया है। टाटा के सेमीकंडक्टर इंडस्ट्री में पूरे विश्व में मांग की बहुत बढ़ोत्तरी देखी जा रही है। टाटा इस फैसले के कारण अपनी और अपने देश की एक नई पहचान बनाने जा रहा है। सेमीकंडक्टर यानी कि अर्धचालक यह आधुनिक उपकरणों की एक स्तम्भ है। इसका निर्माण पूरे विश्व भर में बहुत सी सीमित कंपनियों के द्वारा किया जाता है। जिसमें कि पूरे विश्व के उत्पादन पर भारी असर पड़ता है। इसी को देखते हुए टाटा ने अब इसका उत्पादन करने का भी फैसला लिया है।

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Tata Group जल्दी स्थापित करेगा सेमीकंडक्टर प्लांट

Tata Sons के अध्यक्ष N Chandrasekaran ने हाल ही में कहां है कि हमारा Tata Group जल्दी ही सेमीकंडक्टर प्लांट को स्थापित करने की योजना पर लगा हुआ है। इस खबर के आने से पूरे तकनीकी उद्योग में काफी हलचल मच गई है। टाटा ग्रुप के द्वारा यह खबर आई है कि टाटा ग्रुप ताइवान के प्रमुख सेमीकंडक्टर उत्पादक कंपनियों, Powerchip Semiconductor Manufacturing Corporation (PSMC) और UMC Group के साथ संभावित टाई अप करने की सोच रहा है। यह खबर भारत की तकनीकी उद्योगों के लिए बहुत बड़ी सफलता का संकेत है।

Global Demand

इस फैसिलिटी में Flip Chip, Wire Bond and Integrated System Packaging (ISP) जैसी टेक्नोलॉजी पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा। जो कि ऑटोमोटिव कम्युनिकेशन और नेटवर्क इंफ्रास्ट्रक्चर जैसे क्षेत्रों में अत्यधिक आवश्यक है। टाटा ग्रुप के द्वारा यह फैसला लेने का सबसे बड़ा उद्देश्य है। कि टाटा इलेक्ट्रॉनिक के क्षेत्र में भारतीय बाजार को वैश्विक सेमीकंडक्टर मूल्य श्रृंखला का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बनाया जा सके। जिससे विश्व भर के इलेक्ट्रॉनिक विनिर्माण उद्योग में एक सुरक्षित आपूर्ति शेयर का हिस्सा की डिमांड को पूरा किया जा सके।

Strategic location

जगीरोड फैसिलिटी न केवल ताइवान, मलेशिया, वियतनाम और सिंगापुर जैसे सेमीकंडक्टर पैकेजिंग और टेस्टिंग महत्वपूर्ण हप्सी के करीब है। बल्कि यहां पर पर्याप्त मात्रा में पानी और ग्रीन एनर्जी की भी उपलब्धता है। इस परियोजना पर काम करने के लिए यह एक बहुत अच्छा स्थान है। साथ ही इससे पर्यावरण को भी शुद्ध बनाया जा सकता है। बल्कि इस परियोजना को पूरे विश्व भर में भारत की आर्थिक स्थिति को भी मजबूत बनाया जा सकता है।

Future prospects

सेमीकंडक्टर उद्योग के विकास को बढ़ाने के लिए भारत सरकार भी इस फैसले से सहमत है। अमेरिका टेक दिग्गज micron technology कंपनी ने भी भारत में अपने सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग वेंचर की घोषणा की है। जिससे इस क्षेत्र में अधिक दिलचस्पी दिखाइ दे रही है। इसके अलावा हमारी भारत सरकार ने भी सेमीकंडक्टर के उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए वित्तीय सहायता और अन्य सुविधाएं प्रदान कर रही है।

यह अनुमान लगाया जा रहा है कि 2023 तक ग्लोबल सेमीकंडक्टर इंडस्ट्री का बाजार 1 ट्रिलियन डॉलर तक पहुंच जाएगा। जिससे भारत की मांग 110 अरब तक पहुंच सकती है। टाटा ग्रुप के इस फैसले में भारत में सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग की इस पहल से न केवल ग्लोबल सप्लाई चैन में जोखिम कम होगा। साथ ही ग्लोबल सेमी कंडक्टर इंडस्ट्री में भारत का एक महत्वपूर्ण योगदान भी होगा। टाटा ग्रुप का यह फैसला न केवल तकनीकि उद्योग को बढ़ावा देने के लिए बल्कि पूरे देश के औद्योगिक विकास के लिए एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो सकता है। इससे भारतीय तकनीक उद्योग में एक नवाचार और विकास का नया रूप देखने को मिलेगा। जिसे अपना भारत देश विश्व भर में तकनीकी के ढांचे पर और अधिक मजबूती के रूप में उभर कर आएगा। टाटा ग्रुप के इस फैसले से भारत आत्मनिर्भर बनाने के साथ ही आर्थिक रूप से और अधिक मजबूत बनेगा।

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